भगवान परशुराम अदम्य साहस एवं वीरता के प्रतीक - कैलाश परमार
रिपोर्ट राजीव गुप्ता आष्टा जिला सीहोर एमपी
आष्टा - भगवान विष्णु के छटवे अवतार भगवान परशुराम अदम्य साहस एवं वीरता के प्रतीक हैं। भगवान विष्णु के आवेशावतार भगवान परशुराम ने हमेशा यह भाव रखा कि जीवन सृष्टि को इसके प्राकृतिक सौंदर्य सहित जीवन्त बनाये रखना था। वे चाहते थे कि यह सारी सृष्टि पशु पक्षियों, वृक्षों, फल-फूल और समूची प्रकृति के लिए जीवन्त रहे। उनका कहना था कि राजा का धर्म वैदिक जीवन का प्रसार करना हैं ना कि अपनी प्रजा से आज्ञा पालन करवाना। भगवान परशुराम ने धर्मं की रक्षा के लिए शस्त्र उठाकर धर्म की रक्षा की। उक्त आशय के उद्गार प्रदेश कांग्रेस महामंत्री एवं पूर्व नगरपालिका अध्यक्ष कैलाश परमार ने भगवान परशुराम की जयंती पर अखण्ड़ ब्राह्मण समाज आष्टा द्वारा आयोजित कार्यक्रम में व्यक्त किए। अखण्ड ब्राह्मण समाज आष्टा ने भगवान परशुराम के जन्मोत्सव को नगर में शोभायात्रा निकाल कर तथा ब्राह्मण परिणय महोत्सव में चार जोड़ो का शुभ विवाह संपन्न कराकर धुमधाम से स्थानीय मानस भवन मेें मनाया गया।
सांस्कृतिक कार्यक्रम आयोजित कर गणमान्य जन का अभिनंदन भी किया गया। इसी तारतम्य में प्रदेश कांग्रेस कमेटी के महासचिव तथा पूर्व नपाध्यक्ष कैलाश परमार साथ ही पार्वती गौशाला के अध्यक्ष पूर्व पार्षद नरेन्द्र कुशवाह का अखण्ड ब्राह्मण समाज अध्यक्ष मनीष पालीवाल महोत्सव प्रभारी, दिनेश शर्मा, राजेश शर्मा, समाज के संरक्षकगण प्रेमनारायण शर्मा, हरीनारायण शर्मा, युवा सदस्यगण शुभम शर्मा, गगन तिवारी ने स्वागत कर अभिनंदन किया। कार्यक्रम का संचालन संजीव दीक्षित ने किया। पूर्व नपाध्यक्ष कैलाश परमार ने समस्त अखण्ड ब्राह्मण समाज का आभार व्यक्त कर भगवान परशुराम के जन्मोत्सव की बधाई दी।