स्लग:--- माला के जपने ,ध्यान से ही भगवान की प्राप्ति होती है -पंडित ब्रज किशोर नागर जी महाराज।
सतगुरु ऐसे भगवान है जो आगे का मार्ग प्रशस्त करते हैं।
स्थान:--मनावर
मनावर धार से आशीष जौहरी की रिपोर्ट।
विओ:--------मनुष्य को कभी अहंकार नहीं करना चाहिए ।जहां अंहकार रहेगा, वहाॅ प्रभु की प्राप्ति नहीं हो सकती है। उक्त विचार पं ब्रज किशोर नागर जी महाराज ने गीता जयंती महोत्सव के छठे दिन बंकनाथ अटल दरबार सत्य देव मंदिर के प्रांगण में कहीं। उन्होने आगे कहा कि कृष्ण जी ने अर्जुन को कहा कि गीता ज्ञान सुनो तभी फलित होगे। जहां भजन होगे वहा भगवान निश्चित ही आएंगे। माला के जपने से परमात्मा आते हैं। उमा में कहूं अनुभव अपना ।सत हरि भजन होय।। कथावाचक द्वारा भजन का गायन किया गया। सद्गुरु एक ऐसे भगवान है जो भक्त की नैय्या पार करवा सकते हैं। पेट भरने का ज्ञान तो सबको है लेकिन परमात्मा का ज्ञान प्राप्त करने के लिए ध्यान, भजन ,माला अवश्य करना चाहिए ।तुलसीदास जी को उनके पत्नी से ज्ञान प्राप्त हुआ था। लोग दु:खी क्यों हो रहे हैं, लोगों की देखा- देखी से दु:खी हो रहे हैं ।कर्ज लेकर मकान बनाना कौन सी विशेषता है । मनुष्य के अंदर का मकान बनाना चाहिए ,वही साथ में जाएगा ।कथावाचक पंडित जी मालव माटी के होने कारण उनके भजन अति मधुर थे ।श्रवण कर्ताओं का उन्होंने दिल जीत लिया ।मातृ शक्तियो ने खुब नृत्य किये।ऐसा कोई नहीं रे,हीरा को परखाय्यो राम कोई नहीं रे एवम भोगी आया, जोगी आया ,ढोंगी आया ,योगी , आया नहीं रे भजन का गायन हुआ। राजा भगत के प्रयास से इस धरती पर गंगा मैया को अवतरित किया था ।राजा बलि जैसे दान दाता नही हुआ। अध्यापक जगदीश चन्द्र पाटीदार, पर्यावरणविद लूना जी काग, संतोष पाटीदार, विकास शर्मा,लक्ष्मण मुकाती ,रमेश कुशवाह ने व्यास पीठ का पूजन कर महाराज जी से आशीर्वाद प्राप्त किया।मुख्य यजमान ज्योति तुकाराम पाटीदार जी थे।