संवाददाता परमेश्वर यादव
बेमेतरा 30 जुलाई 2025:- जिले की सेवा सहकारी समिति दाढ़ी ने खरीफ वर्ष 2025 में खाद वितरण और किसान क्रेडिट कार्ड के क्षेत्र में उल्लेखनीय सफलता हासिल की है। समिति द्वारा किए गए प्रयासों के सकारात्मक परिणाम स्वरूप किसानों को समय पर आवश्यक खाद उपलब्ध हुआ और ऋण वितरण की प्रक्रिया भी अधिक प्रभावी बन पाई।
यूरिया वितरण में 111% की बढ़ोतरी
खरीफ वर्ष 2024 में जहां यूरिया का वितरण 426.78 मीट्रिक टन था, वहीं वर्ष 2025 में यूरिया का भंडारण बढ़कर 475.20 मीट्रिक टन हो गया है। इसका वितरण प्रगतिशील रूप से किया जा रहा है, जो कि गत वर्ष की तुलना में 111 प्रतिशत की बढ़ोतरी को दर्शाता है।
डीएपी वितरण में 81% स्तर पर प्रगति
गत वर्ष डाई-अमोनियम फॉस्फेट का वितरण 169.60 मीट्रिक टन हुआ था। इस वर्ष भंडारण 138.50 मीट्रिक टन हुआ है और वितरण जारी है, जो पिछले वर्ष की तुलना में 81 प्रतिशत स्तर तक पहुंच चुका है।
एमओपी वितरण में 110% का प्रदर्शन
म्यूरेट ऑफ पोटाश का वितरण गत वर्ष 74.45 मीट्रिक टन हुआ था, जो इस वर्ष 82.15 मीट्रिक टन तक पहुँच चुका है, अर्थात 110 प्रतिशत की बढ़ोतरी दर्ज की गई है।
एसएसपी और 20.20.0.13. में भी सकारात्मक रुझान
सिंगल सुपर फास्फेट का वितरण पिछले वर्ष 166.10 मीट्रिक टन था, जो इस वर्ष बढ़कर 173.75 मीट्रिक टन हो गया है, अर्थात 104 प्रतिशत का प्रदर्शन। इसी प्रकार, 20.20.0.13. ग्रेड का वितरण गत वर्ष 117.45 मीट्रिक टन था, जो इस वर्ष 132 मीट्रिक टन तक पहुँच चुका है, यानि 112 प्रतिशत।
केसीसी धारक किसानों को मिला व्यापक लाभ
गत वर्ष समिति द्वारा 1,800 केसीसी धारक किसानों को ऋण वितरण किया गया था। इस वर्ष समिति ने 49 नए केसीसी जारी किए हैं। किसानों के एग्री स्टैक पंजीयन हेतु शिविरों का आयोजन किया गया, जिससे अधिक से अधिक किसानों को सरकारी योजनाओं का लाभ मिला।
खाद वितरण में 95% केसीसी धारकों को मिला लाभ
खाद वितरण का 95 प्रतिशत भाग किसान क्रेडिट कार्ड के माध्यम से किया गया है, जिससे यह स्पष्ट होता है कि समिति ने पारदर्शिता और सुविधा दोनों का समन्वय करते हुए कार्य किया है। केसीसी धारक किसानों का सतत रूप से अनुवीक्षण कर उन्हें जरूरतमंद संसाधनों से जोड़ा जा रहा है। यह केवल समिति की योजनाबद्ध कार्यप्रणाली को दर्शाती संवेदनशील, सक्षम और सक्रिय प्रशासनिक सहयोग से कृषि क्षेत्र में बड़े परिवर्तन लाए जा सकते हैं। सेवा सहकारी समिति दाढ़ी की यह उपलब्धि जिले के अन्य क्षेत्रों के लिए भी एक प्रेरणा बन सकती है।